Lyrics
दर्द में डूब गई शाम न जाने क्या हो
ऐ मोहब्बत तेरा अंजाम न जाने क्या हो
दर्द में डूब गई शाम न जाने क्या हो
ऐ मोहब्बत तेरा अंजाम न जाने क्या हो
दर्द में डूब गई शाम न जाने क्या हो
ऐ मोहब्बत तेरा अंजाम न जाने क्या हो
दर्द में डूब गई शाम
तेरी कसमें, तेरे वादे मैं भुलाऊँ कैसे
ज़ख्म दिल पर वो लगे है के बताऊ कैसे
आरज़ू बन गई इल्ज़ाम न जाने क्या हो
ऐ मोहब्बत तेरा अंजाम न जाने क्या हो
दर्द में डूब गई शाम
है पुरानी वो ही रस्में, वो ही बातें सलमा
क्या सजेगी यहाँ ख़्वाबों की बरातें सलमा
टूटे उम्मीद के सब जाम न जाने क्या हो
ऐ मोहब्बत तेरा अंजाम न जाने क्या हो
दर्द में डूब गई शाम